ED full form क्या है? इसका मतलब डायरेक्टरेट ऑफ एनफोर्समेंट (Directorate of Enforcement) है। यह भारतीय सरकार का एक महत्वपूर्ण संगठन (organization) है। जो अपराध के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करती है। यह भारतीय व्यापार, क्राइम और पैसों के हेरफेर करने के क्षेत्र में यह कानून लागु करते हैं। जिसके बाद अपराधियों के खिलाफ केस फाइल की जाती है। ED का एक बड़ा समूह होता है। जो अलग-अलग जगहें और किसी भी समय किसी भी रूप में पहुंच जाते हैं। अगर आपको ED से बचना है, तो हम आपको इस ब्लॉग के जरिए कुछ जानकारी देंगे। जिससे आपको ED से डरने की जरूरत नहीं पड़ेगी। और जिस तरह हमने डीटेल में पहले आपको बताया कि Videsh niti kya haiऔर अब जानिए ED की फुल फॉर्म के साथ इसके बारे में पूरी जानकारी।
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आपराधिक बिजनेस
ED आपराधिक बिजनेस करने वालों को पकड़ने में माहिर होती है। और विभिन्न कानूनों का उपयोग करके इन अपराधों की जांच करती है। अपराधी ज्यादा से ज्यादा इस कोशिश में रहते हैं, कि वो ED के नज़र में न आएं। लेकिन ये मुमकिन नहीं है। क्राइम करने वाले लाख तैयारी कर लें, लेकिन ED की तेज नजरों से बचना इतना आसान नहीं है।
पैसे की धोखाधड़ी
ED द्वारा की जाने वाली एक प्रमुख कार्रवाई मनी फ्रॉड है। यह संगठन मुद्रा खरीद (currency purchase) और बिक्री के अवैध कामों की जांच करती है। और जो व्यपारी नियनों का पालन नहीं करते हैं, उन्हें क़ानूनी तौर पर नियम के साथ चलने के लिए प्रेरित करती है। मनी फ्रॉड के खिलाफ कार्रवाई के कारण, लोगों को ED के नाम से ही डर लगता है। क्योंकि अगर आप एक बार ED के नजरों में आ गए, तो फिर आपका बचना मुश्किल है।
अर्थव्यवस्था की सुरक्षा
ED आर्थिक उन्नयन (economic upgradation) और संपदा की सुरक्षा (asset protection) को सुनिश्चित (Assured) करते हैं। यह संगठन अपराधों के खिलाफ सख्ती से कार्रवाई करते हैं। और भारतीय अर्थव्यवस्था को मजबूत रखने का प्रयास करते है।
अपराधों के तत्वों की जांच
ED अपराधों के तत्वों (elements) की जांच करते हैं। जिनमें व्यक्ति या संगठन धन संपत्ति को नियंत्रण करने और ग़ैरक़ानूनी धंधों में निवेश को रोका जाता है। यदि किसी व्यक्ति के खिलाफ साबुत मिलता है। तो फिर उन्हें कानूनी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है।
आपराधिक संपत्ति जब्त
ED का एक महत्वपूर्ण कार्य यह भी है कि वह अपराधियों की संपत्ति को जब्ती करते हैं। ED उनके अवैध कमाई पर रोक लगाते हैं। इसलिए लोगों को ED से डरना चाहिए। क्योंकि उनकी संपत्ति और मालिक को उसका हर्जाना भुगतना पड़ सकता है।
विदेश जाने वाले छात्रों से घोटाला
विदेश जाने वाले छात्रों के साथ एजेंटों द्वारा धोखाधड़ी करना एक गंभीर अपराध है। और ऐसे मामलों में ED सख्त कदम उठाती है। छात्रों की सुरक्षा और न्याय सुनिश्चित करने के लिए बहुत जरूरी है। ED की खास नज़र ऐसे एजेंटों पर रहती है, जो विदेश जाने वाले स्टूडेंट को वीजा या पासपोर्ट देती है। आए दिन ऐसे कई मामले सामने आते है, जिसमें छात्रों द्वारा लाखों रूपए लेकर एजेंट फरार हो जाते हैं।
अपराधों के प्रभाव का खात्मा
ED द्वारा अंतरराष्ट्रीय सहयोग भी किया जाता है। और इनका उद्देश्य अपराधियों के प्रभाव को समाप्त करना है। यह संगठन अपराधियों के धन संपत्ति को जब्त करके और कठोर कार्रवाई करते है। और ये कानूनी कार्रवाई करके समाज में विश्वास और न्याय को स्थापित करने का प्रयास करते हैं।
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1. ED का फुल फॉर्म क्या होता है?
ED का फुल फॉर्म डायरेक्टरेट ऑफ एनफोर्समेंट (Directorate of Enforcement) है।
2.ED क्या काम करती है?
यह एक जांच एजेंसी है, जो भारत में विदेशी संपत्ति मामला, धन शोधन, आय से अधिक संपत्ति पाए जाने पर जांच करती है।
3.ED में नौकरी कैसे मिल सकता है?
अगर आपको ED बनना है, तो इसके लिए आपको ग्रेजुएशन करना होगा। उमीदवार को CID, इंडियन रिवेन्यू सर्विस, इंडियन पुलिस सर्विस, इंडियन एडमिनिस्ट्रेटिव सर्विस, इंडियन कॉरपोरेट लॉ सर्विस में से किसी एक पद पर कार्यरत रहना होगा।
4.ED में नौकरी करने के लिए आयु कितनी होनी चाहिए।
यदि आप ED बनने की सोच रहे हैं, तो इसके लिए आपकी आयु 20 वर्ष से 27 वर्ष के बीच में होनी चाहिए।